रास्ते पर होने वाले प्रसव से नाराज गड्ढे वाली सड़क की मरम्मत में जुटे

रेलवे परमिशन नहीं दे रही है

कोलकाता/ बीरभूम: पश्चिम बंगाल के बीरभूम मुर्शिदाबाद सीमा क्षेत्र पर एक गांव में सड़क बदहाली के कारण रोज हादसे होते हैं। इस सड़क में इतने बड़े गड्ढे हैं कि वहां से गर्भवती महिलाओं को नहीं ले जाया जा सकता है।

कई बार गर्भवती महिलाओं का प्रसव गड्ढों के कारण सड़क पर ही हो चुका है। वहीं कई स्कूलों के बच्चे सड़क दुर्घटना का शिकार हो गए हैं। गांववालों का कहना है कि यहां मरम्मत की रिबन कटिंग की गई। मिठाइयां बांटी गई। फिर भी सड़क की मरम्मत नहीं हो पाई।

इन हादसों से परेशान होकर अब गांव वालों ने खुद ही सड़क मरम्मत का बीड़ा उठाया है। गांव वालों का कहना है कि सरकार और रेलवे के बीच में सड़क की मरम्मत का काम रुका हुआ है। रेलवे परमिशन नहीं दे रही है। ऐसे में गांव वालों ने चंदा इकट्ठा कर सड़क बनाने का काम शुरू कर दिया है।

रिबन कटी पर नहीं हुई मरम्मत

दरअसल मामला पश्चिम बंगाल के बीरभूम-मुर्शिदाबाद सीमा पर एक गाँव का है। रास्ते तैयार होने के लिए रिबन कटिंग हुई थी। सरकारी कार्यक्रम का आयोजन भी किया गया लेकिन फिर भी रास्ता नहीं बना। ग्रामीणों ने अब चंदा जुगाड़ कर रास्ते का निर्माण करने की ठान ली है। हालांकि बीडीओ हुमायूं चौधरी का कहना है कि रेलवे सड़क बनाने का अनुमति नहीं दे रहा है। अब गांव वाले खुद ही कुदाल और फावड़ा लेकर रास्ते की मरम्मत कर रहे हैं।

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बीरभूम-मुर्शिदाबाद सीमा पर है गांव

यह गांव बीरभूम-मुर्शिदाबाद सीमा स्थित है। बीरभूम के नलहाटी के न-पारा ग्राम पंचायत लोहापुर रेल फाटक से मुर्शिदाबाद के मोड़ग्राम सीमा तक सलिसोंडा चार किलोमीटर सड़क रेलवे लाइन के पास के गुजरती है। यहां पूरी सड़क पर बड़े-बड़े गड्ढे हो गए हैं।

प्रसव पीड़ा होने पर महिलाएं अस्पताल नहीं ले जायी जा सकती। कई महिलाओं का प्रसव तो सड़क पर हो चुका है। स्कूल जाते समय कई बच्चे हादसे का शिकार हो गए। सरकार के विभिन्न विभागों और क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों को सड़क मरम्मत के बारे में बार-बार सूचित किया गया पर सड़क की मरम्मत नहीं हुई। इसलिए इस बार गांव के लोगों ने चंदा इकट्ठा कर सड़क की मरम्मत शुरू कर दी।

कुदाल फावड़ा लेकर उतरे लोग

मंगलवार की सुबह से ही गांव के लोगों ने सड़क पर पत्थर के टुकड़े फेंक कर सड़क की मरम्मत शुरू कर दी।

गांव के निवासी सनाउल हक, टिटन शेख, रतन शेख, रेजाउल शेख ने कहा,’दो साल पहले सड़क की मरम्मत के लिए रिबन काटे गए मिठाइयां बंटी पर सड़क की मरम्मत नहीं हुई। लेकिन इस सड़क से रोजाना हजारों लोगों का आवागमन होता है।

टूटी सड़कों पर राहगीरों को परेशानी का सामना करना पड़ता है। स्कूल जाते समय कई बार छात्र हादसे का शिकार हो गए।

सामने पश्चिम बंगाल के बोर्ड की परीक्षाएं होने वाली हैं। इसी सड़क से माध्यमिक परीक्षार्थियों को क्षेत्र के आठ विद्यालयों के माध्यमिक परीक्षा केंद्रों तक जाना पड़ता है। इसे ध्यान में रखते हुए हमने चंदा इकट्ठा किया, स्टोन पाउडर खरीदा और खुद सड़क की मरम्मत शुरू कर दी।

 

बार-बार कहने पर भी सुनवाई नहीं

पंचायत प्रधान एमदादुल ने कहा,’ हम सीमित क्षमता के साथ कभी-कभार स्टोन पाउडर फैलाते हैं। पर यह पर्याप्त नहीं है। मैंने जिला परिषद, विधायक, सांसद को अवगत करा दिया है। निर्माण लागत की सूची कई बार भेज चुका हूं। लेकिन कोई काम नहीं हुआ। उस समय बीडीओ ने गांव में जाकर सड़क बनवाने का आश्वासन दिया था, लेकिन वास्तव में यह काम नहीं हो पाया।

Birbhum Murshidabad of West Bengalvillage is on the Birbhum Murshidabad borderपश्चिम बंगाल के बीरभूम मुर्शिदाबादबीरभूम-मुर्शिदाबाद सीमा पर है गांव