लोकसभा सीटों का I.N.D.I.A. ने किया बंटवारा

बिहार/रांची  : बिहार में नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव ने महागठबंधन या कह सकते हैं कि इंडिया गठबंधन का फॉर्मूला तैयार कर लिया है।  दरअसल, आपको बता दें कि बिहार में लोकसभा की चालीस सीटें हैं और बिहार में लोकसभा का इस बार  का जो चुनाव है वो पहली बार एक नए समीकरणों के साथ हो रहा है। आरजेडी और जेडीयू कांग्रेस लेफ्ट एकसाथ है। हालांकि, आरजेडी जेडीयू पहले भी एक साथ हो चुके हैं। ज्ञात हो की दो हज़ार पंद्रह के लोकसभा चुनाव में इन तीनों दलों ने मिलकर साथ चुनाव लड़ा था। लेकिन लोकसभा के चुनाव में कभी भी आरजेडी जेडीयू कांग्रेस साथ मिलकर चुनाव नहीं लड़े हैं।

अब चालीस लोकसभा सीटों की बात कर ले तो जब दो हज़ार उन्नीस में यानी कि पिछली बार लोकसभा के चुनाव हुए थे तो नीतीश कुमार भारतीय जनता पार्टी के साथ थे। यानी कि एनडीए गठबंधन का हिस्सा थे और उसके बाद उन्होंने सोलह लगभग कह दे कि सत्रह सीटों पर नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड ने चुनाव लड़ा और 16 सीटें वो जीतने में कामयाब रहे एक सीट जेडीयू को किशनगंज की गवानी पड़ी। वहां वो हार गए लेकिन किशन गंज की सीट कांग्रेस ने जीत ली। कांग्रेस के डॉ मोहम्मद जावेद किशनगंज लोकसभा सीट से जीतने में कामयाब हुए और जैसे तैसे विपक्ष की इज्जत बची। या यह कह सकते बोहनी हुआ खाता खुला।

चालीस में उनतालीस सीटें एनडीए ने जीत ली। लेकिन इस बार का क्या फॉर्मूला है? हम आपको बता दें कि लालू प्रसाद यादव और नीतीश कुमार ने मिलकर फॉर्मूला निकाल लिया है लोकसभा चुनाव में वक्त काफी कम रह गया है और ऐसे में ज्यादा से ज्यादा सीटें जीतने के लिए महागठबंधन या इंडिया गठबंधन कह ले। इंडिया गठबंधन ने फॉर्मूला तैयार कर लिया है। लालू प्रसाद यादव नीतीश कुमार ने मिलजुलकर जो तय किया है।

उसके मुताबिक तीस और दस का फॉर्मूला तय किया गया है। जी हां तीस और दस का फॉर्मूला तीस लोकसभा सीटें आरजेडी और जेडीयू आपस में बांट लेंगे और दस लोकसभा सीट कांग्रेस और लेफ्ट पार्टियों के लिए छोड़ी जाएगी। अब लोकसभा सीटों की अगर बात करें तो नीतीश कुमार की पार्टी के पास अकेले सोलह सांसद हैं तो क्या आरजेडी चौदह सीटों पर लड़ेगी ? अनुमान जताया जा रहा है जो मीडिया में खबरें चल रही है कि पंद्रह पंद्रह सीटों पर नीतीश कुमार को थोड़ा पीछे हटना पड़ सकता है और पंद्रह सीटें आरजेडी, पंद्रह सीटें जेडीयू, पंद्रह सीटें सीटों पर लालू प्रसाद यादव, तेजस्वी यादव, उम्मीदवार मैदान में होंगे।

तो पंद्रह लोकसभा सीटों पर नीतीश कुमार के उम्मीदवार होंगे। अब कौन सा वह एक चेहरा होगा जिनका टिकट इस लोकसभा चुनाव में कट जाएगा। यह देखना सुनना जानना बड़ा दिलचस्प होगा। बाकी के दस सीटों पर बात कर तो कांग्रेस और लेफ्ट के बीच सीटों का बंटवारा होगा और यह भी कहा जा रहा है कि कांग्रेस की एक दो सीटों पर आरजेडी या जेडीयू के उम्मीदवार मैदान में आ सकते हैं। जैसे हमने आपको बताया कि सोलह लोकसभा की सीटें जेडीयू के पास है। लड़ेंगे वह पंद्रह पर और बचे हुए एक सांसद को कांग्रेस के टिकट पर एडजस्ट कराया जाएगा।

यह फॉर्मूला एक तरीके से तय हुआ है और लोकसभा चुनाव में यही फॉर्मूला इंडिया गठबंधन का आपके सामने होगा और चालीस लोकसभा सीटों पर भारतीय जनता पार्टी को करारी शिकस्त देने के उद्देश्य से यह पूरा महागठबंधन का जो कुनबा है आरजेडी जेडीयू कांग्रेस और लेफ्ट पार्टियां मिलकर चुनावी मैदान में आपको दिखाई देंगे और बिहार को लेकर इंडिया गठबंधन को बहुत सारी उम्मीदें हैं और बिहार एनडीए गठबंधन की उम्मीदों पर कितना खरा उतरता है यह देखना सुनना जानना बड़ा दिलचस्प होगा।

हालांकि इसके लिए हमें लोकसभा के चुनाव और उनके परिणामों का इंतजार करना होगा कि आखिर बिहार का ऊंट किस करवट बैठता है। बिहार की जनता..किसपर अपना भरोसा जताती है। हालांकि राजनीतिक विश्लेषकों की मानें राजनीति के जानकारों की मानें तो बिहार में जो लोकसभा का चुनाव होगा, बड़ा दिलचस्प होगा और कांटे की लड़ाई की बात कही जा रही है। हालांकि, जो लोग बिहार की राजनीति पर नज़र बना कर रखते उनका कहना है कि मुकाबला एकतरफा होगा चाहे वह जिसके भी पक्ष में जाएगा या इंडिया के पक्ष में या एनडीए के पक्ष में पर क्या होगा वो तो नतीजों के बाद ही पता चलेगा।

 

ये भी पढ़ें : Fake News फैलाने वालों पर नकेल कसने की तैयारी