पटना : जब तक हम जीवित रहेंगे, हमारी दोस्ती खत्म नहीं होगी, इन सब बातों को छोड़िए… ये बोल है किसी और के नहीं बल्कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के हैं और किसके लिए है बीजेपी के लिए। हालांकि उन्होंने स्पष्ट तौर बीजेपी तो नहीं कहा लेकिन कहा जाता है राजनीति जो हैं धारणाओं का खेल है। दरअसल नीतीश कुमार मोतिहारी के महात्मा गांधी सेंट्रल यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में शामिल हुए थे। उन्होंने कहा कि मैं यूपीए-2 के समय केंद्रीय शिक्षा मंत्री से मिला। उन्होंने खाना खिलाया, लेकिन यूनिवर्सिटी देने से मना कर दिया। बीजेपी सरकार ने बिहार को सेंट्रल यूनिवर्सिटी दी. और तो और उन्होंने यहां तक कहा कि ‘छोड़िए न भाई, हम अलग हैं आप अलग हैं। इन सबको छोड़िए। जब तक हम जीवित रहेंगे, हमारी दोस्ती खत्म नहीं होगी।
दरअसल, मंच पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर और कुलपति भी मौजूद रहे। राष्ट्रपति ने महात्मा गांधी सेंट्रल यूनिवर्सिटी के टॉपर्स का सम्मान किया। कार्यक्रम में मोतिहारी से बीजेपी सांसद राधामोहन सिंह, जिले के सभी बीजेपी विधायक भी मौजूद रहे। दीक्षांत कार्यक्रम में पास आउट विद्यार्थियों को डिग्री दी जाएगी। 1485 में 898 विद्यार्थियों ने रजिस्ट्रेशन कराया है। समारोह में कुल 898 विद्यार्थी डिग्री हासिल कर रहे हैं। इनमें से 10 टॉपर्स को राष्ट्रपति के हाथों मेडल दिया गया। वहीं, आम लोगों के प्रवेश पर रोक थी।
अब बात निकली है तो दूर तलक तो जायेगी हीं। बड़े से बड़े राजनीतिक पंडित भी ये बताने में पूरी तरह से विफल रहते हैं कि नीतीश कब और किस करवट बैठेंगे ये कोई नहीं बता सकता है। अब इतने बड़े बयान के बाद तो हो हल्ला मचना लाजमी था। हालांकि अभी किसी दल ने इसपर प्रतिक्रिया तो नहीं दी है। लेकिन हलचल तो मचा ही है।