कोलकाता : शोक संतप्त परिजनों पर अब नवान्न की पैनी नजर है। राज्य के विभिन्न सरकारी अस्पतालों में बच्चों की मौत के बाद उनके मां-बाप और अन्य परिजनों की ओर से साइकिल पर अथवा कंधे या बैग आदि में शव भरकर ले जाने की घटनाओं के बाद से किरकिरी झेल चुकी पश्चिम बंगाल सरकार ने इस संबंध में कड़ी निर्देशिका जारी की है।
राज्य सचिवालय की ओर से मंगलवार को सभी जिलाधिकारियों और मुख्य स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देश भेजा गया है कि किसी भी सरकारी अस्पताल में मरीज की मौत होने पर जब तक बॉडी को ले जाने के लिए शववाही वाहन की व्यवस्था नहीं हो जाती, तब तक बॉडी नहीं छोड़ी जाएगी।
इसकी जानकारी देते हुए स्वास्थ्य सचिव नारायण स्वरूप निगम ने कहा कि ताकि उन्हें अपने प्रियजन के शव को लेकर घर लौटने में कोई दिक्कत न हो इसीलिए नवान्न ने सभी जिलाधिकारियों और जिला मुख्य स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देश दिए।
स्वास्थ्य सचिव नारायणस्वरूप निगम ने कहा कि हालांकि कोई अधिसूचना जारी नहीं की गई है, लेकिन नवान्न के शीर्ष प्रशासन के निर्देश पर स्वास्थ्य भवन के माध्यम से मौखिक रूप से इस संबंध में निर्देश दिए गए हैं। विभिन्न सरकारी अस्पतालों के सूत्रों के अनुसार प्रशासनिक हलकों में बीते शुक्रवार से इस मुद्दे पर जोरदार चर्चा हुई थी। अंतत: सोमवार को शासन स्तर पर मौखिक निर्देश दिया गया।