महावीर के विचार अनुकरणीय
चैत्र मास के 13वें दिन महावीर स्वामी का जन्म हुआ था। माना जाता है कि भगवान महावीर का जन्म बिहार के कुंडलपुर के राज परिवार में हुआ था। भगवान महावीर जैन धर्म के अंतिम तीर्थांकर माने जाते हैं।
शिखा झा
Mahavir Jayanti 2023 : इस साल महावीर जयंती आज यानी की 4 अप्रैल को मनाई जा रही है। कई जगह यह पर्व महावीर स्वामी जन्म कल्याण के नाम से लोकप्रिय है। महावीर जयंती जैन समुदाय का विशेष पर्व होता है। इस जयंती को भगवान महावीर स्वामी के जन्म उत्सव के रूप में मनाया जाता है। हिंदू पंचांग के मुताबिक, चैत्र मास के 13वें दिन महावीर स्वामी का जन्म हुआ था। माना जाता है कि भगवान महावीर का जन्म बिहार के कुंडलपुर के राज परिवार में हुआ था। भगवान महावीर जैन धर्म के अंतिम तीर्थांकर माने जाते हैं। इनके पिता वज्जि गणराज्य के राजा थे जिनका नाम सिदार्थ है और इनकी माता त्रिशला देवी हैं। महावीर जैन का संबंध भगवान राम से भी माना जाता है। क्योंकि महावीर जैन का जन्म उसी कुल में हुआ था जिस कुल में भगवान राम का जन्म हुआ था। भगवान राम और महावीर जैन दोनों ही सूर्यवंशी हैं और दोनों का जन्म इच्छवाकु वंश में हुआ है।
जैन धर्म के लोग निकालते है शोभायात्रा :
महावीर स्वामी ने कैवल्य ज्ञान की प्राप्ति के बाद चार तीर्थों की स्थापना की साधु, साध्वी, श्रावक और श्राविका, यह सभी तीर्थ लौकिक तीर्थ न होकर एक सिद्धांत हैं। इसमें जैन धर्म के सिद्धांत सत्य, अहिंसा, ब्रह्मचर्य का पालन करते हए अपनी आत्मा को ही तीर्थ बानने की बात महावीर स्वामी ने बतायी है। महावीर जयंती पर जैन धर्म के अनुयायी महावीर जैन की श्रद्धा भाव से पूजा और अभिषेक करते हैं। महावीर जयंती के दिन जैन धर्म के लोग शोभायात्रा निकालते हैं। इस दिन मंदिरों में भगवान महावीर की मूर्ति का विशेष रूप से अभिषेक होता है। इसके बाद मूर्ति को रथ पर स्थापित कर, जुलूस निकाला जाता है। यह कठिन तपस्या से जीवन पर विजय हासिल करने का त्योहार है। महावीर स्वामी ने जीवन में कई उपदेश दिए हैं। उनका मानना था कि मनुष्य को कभी भी असत्य के मार्ग पर नहीं चलना चाहिए और जितने भी जीव इस दुनिया में हैं। उन पर कभी भी हिंसा नहीं करनी चाहिए। महावीर स्वामी ने दुनिया को अहिंसा, सत्य, अपरिग्रह, और ब्रह्माचर्य के बारे में बताया है। जिसे जैन धर्म के पंचशील सिद्धांत के तौर पर जाना जाता है। उन्होनें अपने जीवन में लोगों को सही राह दिखाने और लोगों का मार्गदर्शन करने का काम किय है।
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