ममता बनर्जी ने लोकतंत्र को किया है शर्मसार: रविशंकर शंकर प्रसाद

कहा- राहुल गांधी और सीताराम युचेरी क्यों हैं खामोश?

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कोलकाता: भाजपा सांसद रविशंकर प्रसाद ने पंचायत चुनाव में हिंसा को लेकर प्रदेश की सीएम ममता बनर्जी पर हमला बोला है। हिंसा की जांच के लिए कोलकाता पहुंची फैक्ट फाइंडिंग की टीम के संयोजक रविशंकर प्रसाद ने कहा कि बंगाल में कांग्रेस और माकपा के कार्यकर्ता भी मारे जा रहे हैं, लेकिन विपक्ष का कनुबा खामोश क्यों हैं। लोकतंत्र शर्मसार हो रहा है, तो राहुल गांधी और सीताराम युचेरी क्यों खामोश हैं। रविशंकर प्रसाद ने कहा कि यूपी में बीजेपी ने स्वीप किया है। एक-दो जगह घटनाएं घटी है। बंगाल में काउंटिंग में पीटा गया है। पहली बार लोग जीत गये और कहा गया कि टीएमसी में शामिल हो।

ममता जी ने अपने लोकतंत्र को शर्मसार किया है।

उन्होंने कहा कि उम्मीद करता हूं कि जो टीम आयी है, उसको ममता बनर्जी इलाकों में घूमने देंगी। आपका प्रजातात्रिक विश्वासनीयता टेस्ट पर है। वह क्यों चुप्पी साध रखी हैं।

उन्होंने सवाल किया कि हिंसा पर विपक्ष का कुनबा खामोश क्यों है। आज राहुल गांधी और सीताराम युचेरी से सवाल करना है कि आपके भी कार्यकर्ता पीटे जा रहे हैं। आप क्यों खामोश हैं।

उन्होंने कहा कि उनकी चुप्पी बहुत ही निराशाजनक है। आजाद भारत में ग्राम पंचायत के चुनाव 48 लोग मारे जाए। आपके लिए कोई विषय नहीं है। उन्होंने कहा कि यह बीमार लोकतंत्र का शर्मनाक उदाहरण है।

उन्होंने कहा कि उनकी खमोशी दिखाती है कि सभी अवसरवादी और स्वार्थी हैं। नरेंद्र मोदी को हटाने के लिए किसी भी सीमा पर जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोर्ट के आदेश पर सेंट्रल फोर्स आती है। बीएसएफ को सर्वाजनिक कहना पड़ रहा है कि उनकी मांग पर तैनाती नहीं की गई है।

पूरे भारत ने देखा कि चुनाव के दिन क्या हुआ। ऐसा पहले बिहार में होता था। कल वोटों की गिनती में लोग मारे गए और तृणमूल कह रही है कि विपक्ष में से कोई जीतेगा तो सर्टिफिकेट तभी मिलेगा जब वह तृणमूल में शामिल होगा।

उन्होंने कहा कि ममता जी को आपको फेसबुक पर क्यों बताना पड़ रहा है? आप पत्रकार के सामने क्यों नहीं बोल पा रही हैं? दरअसल, 48 लोग मर गए, आपको इस पर शर्म नहीं आती है।

उन्होंने कहा कि उन्हें चुनाव आयुक्त पर कोई भरोसा नहीं है. जो हुआ उसमें चुनाव आयोग की बड़ी भूमिका है, कोर्ट का आदेश था कि सेंट्रल फोर्स तैनात हो, लेकिन क्या हुआ। इतनी मौत क्यों हुई, मतपेटी फेंकने की क्या जरूरत थी? मतपत्र चुराना क्यों जरूरी था।