नई दिल्ली : संसद का शीतकालीन सत्र शुरू होने वाला है। 4 दिसंबर से संसद शुरू हो जाएगा। ये सत्र भी काफी हंगामेदार रहने वाला है। इसी को देखते हुए आज सर्वदलिय बैठक बुलाई गई। इस बैठक में कई मुद्दों पर चर्चा हुई है। केंद्र सरकार ने शनिवार को कहा कि वो संसद के शीतकालीन सत्र में सभी मुद्दों पर चर्चा के लिए तैयार है। सरकार ने कहा कि हमने विपक्ष से कहा कि वो रचनात्मक चर्चा करें।
बीएसपी प्रमुख मायावती ने ट्वीट किया, "संसद के शीतकालीन सत्र से पहले आज सर्वदलीय बैठक में बीएसपी ने फिर सरकार से देश में जातीय जनगणना कराने की मांग की…केंद्र सरकार को इस संबंध में तत्काल सकारात्मक कदम उठाना चाहिए।" pic.twitter.com/fOczMK6vKL
— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 2, 2023
वहीं इस पूरे मसले पर बयान देते हुए बसपा प्रमुख मायावती ने कहा है कि सर्वदलीय बैठक में बीएसपी द्वारा सरकार से देश में जातीय जनगणना कराए जाने की माँग पुनः की गयी। अब जबकि इसकी माँग देश के कोने-कोने से उठ रही है, केन्द्र सरकार द्वारा इस बारे में अविलम्ब सकारात्मक कदम उठाना जरूरी।
महंगाई, गरीबी, बेरोजगारी, बदहाल सड़क, पानी, बिजली, शिक्षा, स्वास्थ्य व कानून व्यवस्था से त्रस्त व जातिवादी शोषण-अत्याचार से पीड़ित देश के लोगों में जातीय जनगणना के प्रति जो अभूतपूर्व रुचि/जागरूकता है वह भाजपा की नींद उड़ाए है तथा कांग्रेस अपने अपराधों पर पर्दा डालने में व्यस्त।
वैसे विभिन्न राज्य सरकारें ’सामाजिक न्याय’ की दुहाई देकर आधे-अधूरे मन से जातीय जनगणना कराकर जनभावना को काफी हद तक साधने का प्रयास कर रही हैं, किन्तु इसका सही समाधान तभी संभव है जब केन्द्र सरकार राष्ट्रीय स्तर पर सही जातीय जनगणना कराकर लोगों को उनका हक देना सुनिश्चित करेगी।
उत्तर प्रदेश के चर्चित शिक्षक भर्ती में एससी व ओबीसी समाज के आरक्षण को सही से नहीं लागू किए जाने के विरुद्ध जरूरी सुधार की माँग को लेकर हजारों अभ्यार्थी यहाँ लगातार आन्दोलित हैं तथा दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हैं। सरकार इनके साथ तुरन्त न्याय सुनिश्चित करे, बीएसपी की यह माँग।
चयनित शिक्षक अभ्यार्थियों का कहना है कि पिछड़ा वर्ग आयोग, राजस्व परिषद तथा माननीय कोर्ट ने भी सरकार से भर्ती सूची पर फिर से विचार करने को कहा है। ऐसे में राज्य सरकार की जिम्मेदारी बनती है कि वह पीड़ितों को न्याय दिलाने की त्वरित व्यवस्था करे।
आपको बताते चलें कि बैठक के बाद संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने सर्वदलीय बैठक के बाद कहा, ”सरकार रचनात्मक चर्चा के लिए पूरी तरह तैयार है। हमने विपक्ष से सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से संचालित होने देने का अनुरोध किया है। हमने विपक्ष के सुझावों को सकारात्मक रूप से लिया है, 19 विधेयक और दो वित्तीय विषय विचाराधीन है।”