क्रूज चलने से नाविकों का रोजगार छिन जाएगा…अखिलेश के बयान पर डिप्टी सीएम ने ली चुटकी
अखिलेश यादव ने कहा कि इससे नाविकों का रोजगार कम हो जाएगा
वाराणसीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को ‘गंगा विलास क्रूज’ को हरी झंडी दिखाई। यह दुनिया का सबसे बड़ा रीवर क्रूज है। पीएम मोदी के संसदीय सीट वाराणसी से शुरू हुए इस क्रूज को लेकर अब राजनीतिक बयानबाजी तेज हो गई है।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने गंगा विलास क्रूज को लेकर कहा कि इससे नाविकों का रोजगार कम हो जाएगा। अखिलेश के इस बयान पर यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने पलटवार किया है। साथ ही वाराणसी के नाविकों ने अखिलेश यादव के बयान पर विरोध जताया है।
गंगा विलास क्रूज पर निशाना साधते हुए सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि क्या अब बीजेपी नाविकों का रोजगार भी छीनेगी? भाजपा की धार्मिक स्थलों को पर्यटन स्थल बनाकर पैसे कमाने की नीति निंदनीय है। पूरी दुनिया से लोग काशी का आध्यात्मिक वैभव अनुभूत करने आते है, विलास-विहार के लिए नहीं आते हैं, बीजेपी बाहरी चकाचौंध से असल मुद्दों के अंधेरों को अब और नहीं ढक पायेगी। साथ ही अखिलेश ने गंगा नदी पर चलने वाले क्रूज पर शराब परोसने (बार) को लेकर बीजेपी पर निशाना साधा है।
अखिलेश को क्रूज और नाव में नहीं पता फर्क: मौर्य
अखिलेश यादव पर पलटवार करते हुए उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने तंज कसा है। केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि अखिलेश यादव को आजकल कुछ भी अच्छा नहीं लगता है। इसकी कोई दवा भी नहीं है। अखिलेश जी, का मन इतना कसैला (खराब) हो गया है कि अब वह क्रूज और नाव में फर्क भी नहीं कर पा रहे हैं।
क्रूज से काशी में बढ़ेगा और पर्यटन : नाविक
इसके साथ ही बनारस के नाविकों ने भी अखिलेश यादव के बयान का विरोध किया है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार गंगा नदीं में नाव चलाने वाले नाविकों ने कहा कि गंगा विलास क्रूज से उन्हें अपने रोजगार में कोई खतरा नहीं दिख रहा है। न ही इससे उनकी रोजी रोटी में कोई फर्क आएगा। नाविकों ने कहा कि इससे पहले भी यहां कई क्रूज चल रहे हैं, इसका असर हमारे रोजगार पर नहीं पड़ता है। साथ ही नाविकों ने कहा काशी की गंगा में दुनिया का सबसे क्रूज चलने से हमारे पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा और हमारा रोजगार पहले की अपेक्षा और अधिक बढ़ेगा।
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बता दें कि, नदी में चलने वाला क्रूज एमवी गंगा विलास ने 13 जनवरी से वाराणसी से अपनी यात्रा शुरू कर दी है. यह 51 दिनों के अपने सफर में लगभग 3,200 किलोमीटर की यात्रा करेगा।