WHO ने मंगलवार को भारत में बनी सात कप सीरप को ब्लैक लिस्ट कर दिया है. WHO ने कहा कि दुनिया भर में 300 लोगों की मौत की वजह यही दवाएं थीं। WHO की इस कार्रवाई के बाद केंद्र सरकार एक्शन मोड में आ गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने मंगलावर को कहा कि नकली दवाओं के खिलाफ भारत जीरो टॉलरेंस पॉलिसी अपनाता है।
समाचार एजेंसी के अनुसार मंडाविया ने कहा कि भारतीय कफ सीरप से संबंधित मौतों के कारण 71 कंपनियों को सो कॉज नोटिस जारी किया गया है जबकि इनमें 18 को बंद करने का आदेश दिया गया है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने यह भी कहा कि नकली दवाओं की वजह से किसी की मौत न हो, सरकार इस बात का हमेशा ख्याल रखती है।
मनसुख मंडाविया ने कहा कि हम फॉर्मेसी ऑफ वर्ल्ड हैं। उन्होंने कहा कि हम सभी को यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि हम दुनिया में हमारी क्वालिटी वाली फार्मेसी है। इससे पहले आपको याद होगा कि भारत में बनी आई ड्रॉप चर्चा का विषय बनी थी। इसके बाद दवा बनाने वाली कंपनी ने आई ड्रॉप की पूरी खेफ वापस ले ली थी। इसकी वजह से भी कई लोगों की मौत भी हो गई थी। बता दें कि आई ड्रॉप बनाने वाली कंपनी तमिलनाडु की थी।
इससे पहले आरोप लगाया गया था कि पिछले साल गांबिया में 66 और उज्बेकिस्तान में 18 बच्चों की जो मौत हुई थी। उसका संबंध इसी भारतीय कफ सीरप से था। इसे लेकर मंडाविया ने कहा कि जब भी हम पर सवाल उठते हैं तो हम उसके तथ्यों को जानने की पूरी कोशिश करते हैं। उन्होंने कहा कि जांच में उन्होंने पाया गांबिया में 49 बच्चों की मौत डायरिया के कारण हुई है। उन्होंने ये भी कहा कि जो दवाइयां उन्हें दी गई थीं, उनमें से 4 एक्पाइरी थी।