बीजेपी कार्यकर्ताओं पर हिंसा हुई तो, होगी अणुव्रत जैसी स्थिति : शुभेंदु

नंदीग्राम के विधायक ने बंगाल से 'परिवारवाद' और 'तुष्टिकरण' की राजनीति खत्म करने का भी आह्वान किया

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बीरभूमः नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी ने सिउड़ी में एक जनसभा में कहा कि अगर आने वाले चुनावों में बीजेपी कार्यकर्ताओं के खिलाफ हिंसा होती है, तो उनकी स्थिति अणुव्रत मंडल जैसी होगी।

सभा मंच पर बैठे केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के सामने नेता प्रतिपक्ष ने बंगाल से ‘बुआ-भतीजा राज’ खत्म करने का संकल्प लिया। नंदीग्राम के विधायक ने बंगाल से ‘परिवारवाद’ और ‘तुष्टिकरण’ की राजनीति खत्म करने का भी आह्वान किया।

उन्होंने स्पष्ट कर दिया कि मुख्य विपक्ष के रूप में बीजेपी ही तृणमूल सरकार के पतन की जिम्मेदारी लेगी। केंद्र में बीजेपी सरकार की पुनः स्थापना के बाद से ही बीजेपी की बंगाल पर विशेष नजर रहेगी। उसी को याद दिलाते हुए शुभेंदु ने शुक्रवार को कहा, देश के दो राज्यों में परिवारवाद और तुष्टिकरण की राजनीति चल रही है। एक बंगाल और दूसरा तेलंगाना में। हम आने वाले दिनों में इन दोनों राज्यों में सुशासन स्थापित करेंगे।

मवेशी तस्करी मामले में जेल में बंद बीरभूम के टीएमसी नेता अणुब्रत मंडल पर निशाना साधते हुए अधिकारी कहा, ममता बनर्जी ने इस जिले को उपद्रवियों को दे दिया है। इस जिले में चुनाव के बाद की सबसे ज्यादा हिंसा हुई थी लेकिन ममता बनर्जी कहां हैं ? मैं इस सभा से चेतावनी दे रहा हूं, जो लोग अभी भी सोचते हैं कि बीजेपी कार्यकर्ताओं और समर्थकों पर हमला और अपमान किया जाएगा, उन्हें यह कहना चाहुंगा कि आपकी भी अणुव्रत मंडल जैसी स्थिति हो जाएगी।

दूसरी ओर, टीएमसी के अखिल भारतीय महासचिव अभिषेक बनर्जी पर प्रदेश बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने निशाना साधा। राज्य में बीजेपी कार्यकर्ताओं और समर्थकों पर हो रहे अत्याचार का हवाला देते हुए सुकांत ने कहा, तृणमूल के बहुत सारे नेता बीजेपी कार्यकर्ताओं-समर्थकों पर अत्याचार कर रहे हैं, डर दिखा रहे हैं लेकिन सवाल है उन्हें कौन हिम्मत दे रहा है ? भतीजा (अभिषेक बनर्जी) की हिम्मत से, कोयला भतीजा की हिम्मत से।

अभिषेक बनर्जी का नाम लिए बगैर सुकांत ने कहा, सीबीआई ने खोकन को बुलाया है। हालांकि शुभेंदु और सुकांत दोनों ने बंगाल में बीजेपी कार्यकर्ताओं और समर्थकों पर हुए अत्याचार के मुद्दे पर गृहमंत्री अमित शाह का ध्यान आकर्षित करने की कोशिश की। बता दें, इससे पहले भी चुनाव के बाद हुई हिंसा को लेकर प्रदेश बीजेपी ने केंद्र से गुहार लगाई थी। केंद्रीय गृह मंत्री के समक्ष राज्य की कानून व्यवस्था को लेकर भी सवाल किए गए।

राज्य में पंचायत चुनाव सामने हैं लेकिन बंगाल बीजेपी के भीतर ऐसी धारण है कि बाहूबल प्रयोग कर टीएमसी पंचायतों पर कब्जा करना चाहेगी। इसी वजह से बंगाल बीजेपी केंद्रीय गृह मंत्रालय से बंगाल को कड़े संदेश देने की गुहार लगाई।