भाजपा विधायक रणधीर सिंह हुए मार्शल आउट
रांची : झारखंड विधानसभा के शीतकालीन सत्र का आगाज हंगामेदार रहा। पहले दिन की कार्यवाही शुरू होने से पहले भाजपा के कई विधायक विधानसभा मुख्य द्वार पर पहुंचे।
जहां उन्होंने जमकर नारेबाजी और प्रदर्शन किया। हाथों में तख्ती लिए विधायक रिबिका पहाड़िया हत्याकांड के आरोपी को फांसी देने की मांग कर रहे थे। विधायक भानू प्रताप शाही, विधायक विरंची नारायण, विधायक अमित मंडल आदि ने हंगामा किया। सभी ने दिलदार अंसारी को फांसी देने की मांग की।
सभी विधायक झारखंड का इस्लामीकरण बंद करो, रिबिका पहाड़िया के हत्यारे दिलदार अंसारी को फांसी दो, कोयला चोरी बंद करो के नारे लगाए।
भाजपा विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि इस राज्य में कोई सुरक्षित नहीं है। न तो जनता सुरक्षित है, न ही खान खदान और न ही बालू। इस सरकार की मंशा जनता को सुविधा नहीं देना है बल्कि अपने लिए माल बनाना है।
उन्होंने कहा कि राज्य में हत्या, बलात्कार की घटनाएं आम हैं। एक आदिम जनजाति की महिला को टुकड़े-टुकड़े में काटा जाता है और सरकार कुछ नहीं कर पा रही है। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि जो हश्र नियोजन नीति का हुआ है, वही हश्र इनके 1932 का भी होना है।
सदन की कार्यवाही शुरु होते ही शोक प्रस्ताव के दौरान विपक्ष ने हंगामा किया। विधायक नारेबाजी करते हुए आसन तक पहुंच गए। विपक्ष साहिबगंज के रिबिका हत्याकांड मामले को लेकर हंगामा कर रहे थे।
इस दौरान भाजपा विधायक रणधीर सिंह टेबल पर चढ़ कर हंगामा कर रहे थे। इस वजह से उन्हें मार्शल आउट किया गया। जबकि उस समय सदन में शोक प्रस्ताव चल रहा था।
इस दौरान विपक्ष के मुख्य सचेतक बिरंचि नारायण ने शोक प्रकाश में रबिता पहाड़िया का नाम जोड़ने का आग्रह किया, लेकिन उनका नाम नहीं जोड़ा गया तब विपक्ष फिर हंगामा करने लगे. पक्ष और विपक्ष के बीच इस मामले को लेकर काफी तकरार हुआ।
विपक्ष लाश पर राजनीति करना चाह रहा : सीएम
सीएम हेमंत सोरेन ने कहा मैं घटना से भी अवगत हूं। साथ ही जनता की संवेदना से वाकिफ हूं. उन्होंने कहा कि ऐसा पहली बार देख रहा हूं कि शोक प्रस्ताव के दौरान इस तरह की बात हो रही है।
हंगामे की ऐसी परिपाटी सदन में नहीं रही है। विपक्ष के पास अपनी बात रखने का समय है। उन्होंने कहा कि विपक्ष लाश पर राजनीति करना चाह रहा है। जो सही नहीं है।