नई दिल्ली / कोलकाता: बकाया महंगाई भत्ता (डीए) की मांग को लेकर दिल्ली में धरना देने वाले बंगाल के सरकारी कर्मचारियों के खिलाफ प्रदेश सचिवालय नवान्न कड़ी कार्रवाई कर सकता है।
बता दें, डीए की मांग पर आंदोलन की अगुवाई कर रहे बंगाल सरकार के कर्मचारियों के संयुक्त मंच के प्रतिनिधियों ने शनिवार को दावा किया कि उन्हें सोमवार और मंगलवार को दिल्ली के जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन करने के लिए पुलिस से अनुमति मिल गई है। शनिवार के बाद रविवार को भी मंच के सदस्य रविवार को दिल्ली के लिए रवाना हुए। जहां बंगाल के लगभग 500 सरकारी कर्मचारी धरना देंगे।
सोमवार और मंगलवार को धरना देने के साथ ही संयुक्त मंच के प्रतिनिधि मंडल राष्ट्रपति दौपदी मुर्मू, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और केंद्रीय शिक्षामंत्री धर्मेंद्र प्रधान से मुलाकात कर उन्हें ज्ञापन सौपेंगे।
इधर, सूत्रों के मुताबिक बंगाल सरकार का मानना है कि राजधानी में संयुक्त मंच के विरोध में आंदोलन के पीछे विपक्ष का हाथ है। इसके अलावा, ममता सरकार को लगता है कि डीए की मांग पर बार-बार हड़ताल, कभी प्रशासनिक हड़ताल, कभी राज्य के बाहर जाकर धरना आदि कारणों से सरकारी सेवाएं प्रदान करने में कठिनाई हो रही हैं। ऐसे में दिल्ली में धरने पर बैठने वाले बंगाल के सरकारी कर्मचारियों के खिलाफ नवान्न कड़ी कार्रवाई करने का विचार कर रहा है।
उधर, नवान्न द्वारा संभावित कार्रवाई की खबर संयुक्त मंच को मिल गई है। इसे लेकर मंच के संयोजक तापस चक्रवर्ती ने कहा, हमें पता चला है कि राज्य सरकार मंच के करीब 100 सदस्यों के खिलाफ कार्रवाई कर सकती है। हम अपनी मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। इसके अलावा कोर्ट ने हमें सरकार के पक्ष से बातचीत करने का आदेश दिया है। इस मामले में सरकार की ओर से कोई जवाब नहीं आया है।