राष्ट्रगान अपमान मामले में बॉम्बे HC से CM ममता बनर्जी को नहीं मिली राहत

इससे राष्ट्रीय सम्मान अधिनियन 1971 के तहत यह एक गुनाह है

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मुंबई/कोलकाता: राष्ट्रगान के अपमान वाले मामले में प्रदेश की सीएम ममता बनर्जी को बॉम्बे हाईकोर्ट से राहत नहीं मिली है। उन्होंने अपने खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की अर्जी पर पुनर्विचार की अपील को रद्द करने की मांग की थी।

बॉम्बे हाईकोर्ट ने इस मांग को नामंजूर कर दिया है। सीएम ममता बनर्जी पर आरोप है कि साल 2021 में मुंबई के यशवंतराव चव्हाण ऑडिटोरियम के एक कार्यक्रम में वे राष्ट्रगान के वक्त बैठी रह गई थीं। बीच में थोड़ी देर के लिए उठीं और दो लाइनें गुनगुनाकर चुप हो गईं। इससे राष्ट्रीय सम्मान अधिनियन 1971 के तहत यह एक गुनाह है।

इस आधार पर बीजेपी के एक स्थानीय पदाधिकारी विवेकानंद गुप्ता यह शिकायत लेकर मुंबई के कफ पैरेड पुलिस स्टेशन पहुंचे। वहां जब उनकी शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं हुई तो वे मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेड के पास गए।

मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेड की अदालत ने ममता बनर्जी के खिलाफ समन जारी किया। ममता बनर्जी इस समन को चुनौती देने के लिए स्पेशल एमपी/एमएलए कोर्ट पहुंची। एमपी/एमएलए कोर्ट ने साल 2023 में मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेड अदालत से इस शिकायत पर पुनर्विचार करने को कहा।

इसके बाद मजिस्ट्रेड की अदालत ने ममता बनर्जी की उस याचिका को खारिज कर दिया, जिसमें उन्होंने अपने खिलाफ कार्रवाई को रोकने की मांग की थी। ममता बनर्जी के वकील ने तर्क दिया था कि चूंकि उन्होंने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है, इसलिए उन पर कार्रवाई रोकी जाए, लेकिन अब हाईकोर्ट ने भी ममता बनर्जी को राहत देने से इनकार कर दिया है। इस तरह ममता बनर्जी पर एफआईआर दायर करने की याचिका पर पुनर्विचार करने की मांग को रद्द कर दिया है।