शुभेंदु-ममता के बीच मीटिंग कुछ गलत नहींः दिलीप घोष
विपक्षी दल के प्रति विनम्र होने में कोई अन्याय नहीं है
कोलकाताः शुभेंदु अधिकारी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के बीच बैठक को भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष ने राजनीतिक शिष्टाचार करार दिया है.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने विपक्ष के नेता शुभेंदू अधिकारी को अपने कक्ष में बुलाया था और तीन मिनट तक बात की थी।
शुक्रवार को विधानसभा का वह राजनीतिक शिष्टाचार पर बंगाल में खूब चर्चे हो रहे हैं। कुछ का कहना है कि यह संसदीय राजनीति का सामान्य शिष्टाचार है, जबकि अन्य कहते हैं कि इसके पीछे राजनीति है।
हालांकि बीजेपी के केंद्रीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष को इस घटना में कोई अन्याय नजर नहीं आता. उन्होंने दावा किया कि विपक्षी दल के प्रति विनम्र होने में कोई अन्याय नहीं है।
दिलीप ने कहा कि किसी के साथ व्यक्तिगत संबंध हो सकते हैं। विधानसभा शिष्टाचार का स्थान है। संवैधानिक व्यवस्था में हर कोई बैठकर बात करता है. मुझे नहीं लगा कि कुछ गलत था। मैं स्वयं विपक्षी दल के प्रति विनम्र रहा हूं।
गौरतलब है कि, विपक्ष के नेता शुभेंदू अधिकारी को शुक्रवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने चाय का आमंत्रण दिया। सीएम ममता बनर्जी का आंमत्रण पाकर शुभेंदू विधायक अग्निमित्रा पॉल और मनोज टिग्गा के साथ विधानसभा स्थित उनके कक्ष में गये। दोनों के बीच बातचीत भी हुई है। विधानसभा में पहली बार विपक्ष के नेता शुभेंदू अधिकारी और ममता बनर्जी के बीच बैठक हुई।
बता दें कि, शुभेंदू पहले टीएमसी के विधायक और ममता बनर्जी के मंत्रिमंडल में थे, लेकिन विधानसभा चुनाव के पहले वह टीएमसी छोड़कर बीजेपी में शामिल हो गये थे।